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कविता

हाईकू

परसा फूल
लगा देथे गा आगी
लईका बागी ।
भाई-भाई के
लईका, आन बर
होथे मडई ।
स्‍टोव ह तभे
फटथे, जब वोला
बहू धरथे ।
गद्दा ह आगे
कथरी नँदागे
पीठ पीरागे ।
चँदा म जाके
झन इतरा, तोर
हाल ल बता ।
एती गोदाम
भरे, वोती हँडिया
उपास परे ।
भूख लागथे
सब खाथे, भूख ह
काला बचाथे ?
चील ताकथे
मरे ला, मइनखे
ताकै मारे ला ।
गुडी के गोठ
अब कहॉं ले पाबे
टी वी झपागे ।
जाज ह घलो
देख आज लजाथे
टी वी देखाथे ।


नरेन्‍द्र वर्मा
सुभाष वार्ड, भाटापारा
07726 – 222461